बहादुरगढ़ आज तक, विनोद कुमार
पेड़ों की अंधाधुंध कटाई का खामियाजा इंसानों के साथ-साथ अन्य जीवों को भी भुगतना पड़ रहा है। पेडों की कटाई के चलते पक्षी अपना प्राकृतिक आवास खोते जा रहें हैं। पेड़ों को काटते समय सबसे ज्यादा नुकसान उन पक्षियों को होता है जिनके घोसले उन कटने वाले पेड़ों पर होते हैं। इन काटे गए पेड़ों से घोसले नीचे गिर जाते हैं और इनमें जो पक्षियों के बच्चें होते हैं, उनको या तो कुते-बिल्ली अपना शिकार बना लेते हैं या फिर ये बच्चें भूखे-प्यासे जमीन में पड़े-पड़े दम तोड़ देते हैं। गौधन सेवा समिति पिछले काफी समय से इस प्रकार पेड़ काटने से जमीन पर गिरने वाले बच्चों को बचाने का कार्य कर रही हैं। समिति के प्रेस प्रवक्ता विनोद कुमार ने बताया कि किसी भी पक्षी के छोटे बच्चें को बचाना कठिन कार्य होता है परंतु असंभव नहीं होता। समिति प्रेस प्रवक्ता ने जीवसेवको से आग्रह किया कि अगर उन्हें कहीं पर भी कोई किसी कोई घायल पक्षी या किसी पक्षी का छोटा असहाय बच्चा मिले तो तुरंत गौधन सेवा समिति के नया गांव रोड़ केंद्र, सांखोल केंद्र या जाखोदा केंद्र पर पहुंचाए या फिर समिति के इन नम्बरों पर सूचित करें। 9315151529, 9416518960, 9813675601 गौरतलब है कि गौधन सेवा समिति बेसहारा घायल गोवंश के साथ- साथ अन्यसभी प्रकार के बेसहारा घायल जीवों का उपचार करने का सेवा कार्य करती है।
