बहादुरगढ़ आज तक, विनोद कुमार
इनेलो सैनिक प्रकोष्ठ के प्रदेश वरिष्ठ उप प्रधान व प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य धर्मबीर फौजी ने कहा कि सांसद दीपेंद्र हुड्डा द्वारा सैनिक व अर्ध सैनिक बलों की मांगों को माननीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह से मुलाकात करना केवल एक राजनीतिक ड्रामा व दिखावा है।
इनेलो नेता ने कहा कि 2014 से पहले लगातार देश व प्रदेश में कांग्रेस की सरकार थी। जब इन्हें सैनिकों की याद नहीं आई और 2014 में सीआरपीएफ व बीएसएफ ग्रुप सेंटर लाने की बात थी, लेकिन सत्ता में दस साल रहने के बाद भी इस बारे में नहीं सोचा गया। अब सरकार जाने के बाद इन्हें ग्रुप सेंटर लाने की याद आई है। उन्होंने कहा कि जहां तक रेलवे के अंदर अलग बोगी लगाने, सीआरपीएफ व बीएसएफ जवान को शहीद का दर्जा दिलवाने व अर्ध सैनिकों की कैंटीन खुलवाने, जिला स्तर पर डिस्पेंसरी खुलवाने आदि के बारे में झूठी सहानुभूति बटोरने के अलावा कुछ नहीं है। उन्होंने कहा कि वन रैंक वन पेंशन, सातवां वेतन आयोग, अर्ध सैनिक भाईयों को शहीदों का दर्जा, मेडिकल सुविधा आदि मांगों को लेकर अर्ध सैनिक बल व रिटायर्ड सैनिक दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना देते रहे, मगर उनकी किसी भी मांग को पूरा नहीं किया गया। उस समय कांग्रेस को सैनिकों की याद नहीं आई। फौजी ने कहा कि अब चुनाव नजदीक आ रहे हैं तो कांग्रेस को सैनिकों की याद आने लगी है। उन्होंने कहा कि आने वाले चुनाव में कांग्रेस को अपनी हार अभी से दिखने लगी है। इसलिए सैनिक हितों की बड़ी-बड़ी बात करने लगे हैं। उन्होंने कहा कि सैनिक भाई इतनी बातों में आने वाले नहीं है और आने वाले चुनाव में कांग्रेस को फिर से सबक सिखाने का काम करेंगे। उन्होंने कहा कि सांसद महोदय का माननीय गृह मंत्री राजनाथ से मुलाकात करना केवल अपने पिता पर चल रही सीबीआई जांच से राहत दिलाना है।
*फोटो कैप्शन: इनेलो नेता धर्मबीर फौजी
